Dragon fruit varieties-C Variety, Commercial Farming में लोकप्रिय

नमस्कार दोस्तों, ड्रैगन फ्रूट की खेती भारत में तेज़ी से बढ़ रही है, एक तरह नए किसान इसकी तरफ रुख कर रहे है तो दूसरी ओर पारम्परिक खेती में मुनाफा कम मिलने से परेशान कुछ किसानो ने ड्रैगन फ्रूट की खेती की ओर रुख किया है। Commercial खेती करने के लिए सबसे महत्वपूर्ण है Dragon fruit varieties का सही सिलेक्शन और आज हम इसी के बारे में विस्तार से बात करेंगे।

c variety dragon fruit plant

c variety dragon fruit plant जिसे Siam red भी कहा जाता है, यह एक हाइब्रिड किस्म है। यह अपनी खूबसूरत बनावट, लाजवाब स्वाद और भरपूर गुणों की वजह से काफी मशहूर है।

ड्रैगन फ्रूट की तीन प्रमुख किस्में होती हैं – वाइट (जिसमें गूदा सफेद होता है), रेड (जिसमें गूदा लाल होता है), और येलो (जिसमें छिलका पीला होता है)। हर किस्म का स्वाद और गुण अलग-अलग होते हैं। इनमें से C- variety ड्रैगन फ्रूट, Red variety में गिना जाता है और भारत में खेती के लिए सबसे ज्यादा पसंद की जाने वाली varieties में से एक है।

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C Variety की विशेषताएं

Dragon fruit varieties
dragon fruit varieties

  • रूप-रंग: दिखने में यह वैरायटी गोल आकर की होती है, और इसके स्केल्स छोटे होते है, इस वैरायटी में बाहर से दिखने में लाल और अंदर से लाल फलेश होता है। आप यहाँ दिखाई गयी फोटो में देख सकते है।
  • स्वाद: स्वाद में यह मीठा होता है, dragon fruit price 1kg इसका ब्रिक्स लेवल 14 -15 होता है और वाइट ड्रैगन फ्रूट की तुलना में इसमें नुट्रिशन लेवल ज़ादा होता है। यह विटामिन C और E, फाइबर, और एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर होता है। साथ ही, इसमें कैलोरी कम होती है, जो इसे एक स्वस्थ और स्वादिष्ट विकल्प बनाती है।

c variety क्यों खास है?-Dragon fruit varieties

c variety की कई खास बाते है आइये इसके बारे में विस्तार से बात करते है।

विकास (Growth)

c variety dragon fruit plant की एक बड़ी खासियत इसकी तेज़ ग्रोथ है। यह अन्य वैरायटीज़ की तुलना में काफी तेजी से बढ़ती है। इसकी ग्रोथ अच्छी होने की वजह से इसकी कैनोपी जल्दी और अच्छी बन जाती है यही कारण है कि यह most profitable crops in india है, और खेती के लिए एक पसंदीदा विकल्प बन गई है।

बीमारी-रोधी क्षमता (Disease Resistance)

c variety ड्रैगन फ्रूट की एक और खासियत इसकी बीमारी-रोधी क्षमता है। इस किस्म में आमतौर पर बीमारियों के लक्षण जल्दी दिखाई नहीं देते। अगर इसे अन्य किस्मों से तुलना करें, तो यह फंगस और दूसरी सामान्य बीमारियों से प्रभावित होने में ज्यादा समय लेती है।

ड्रैगन फ्रूट की खेती में यह एक बेहद महत्वपूर्ण गुण है, क्योंकि किसी भी फसल की उत्पादकता और गुणवत्ता काफी हद तक इस पर निर्भर करती है कि वह किस हद तक बीमारियों का सामना कर सकती है। इस वजह से, सी वेरायटी न केवल किसानों के लिए सुरक्षित विकल्प बनती है, बल्कि इसके रखरखाव में भी कम मेहनत लगती है।

अनुकूलन क्षमता (Adaptability)

c variety ड्रैगन फ्रूट की सबसे बड़ी खासियत इसकी अनुकूलन क्षमता है। यह किसी भी प्रकार की मिट्टी में आसानी से उगाया जा सकता है और यह 45 डिग्री सेल्सियस तक की गर्मी और 2-3 डिग्री सेल्सियस तक की ठंड सहन करने में सक्षम है।

गर्मियों में, जब तापमान बहुत अधिक बढ़ जाता है, तब कभी-कभी इसमें हीट स्ट्रोक के हल्के लक्षण दिखाई दे सकते हैं। लेकिन फिर भी, यह वैरायटी गर्म इलाकों में टिकाऊ रहती है। वहीं सर्दियों के दौरान, यह कम तापमान वाले क्षेत्रों में भी सफलतापूर्वक उगाई जा सकती है।

इसकी यह अद्भुत अनुकूलन क्षमता इसे भारत जैसे विविध जलवायु वाले देश में खेती के लिए एक आदर्श विकल्प बनाती है।

High production

c variety ड्रैगन फ्रूट अपनी अधिक फूल और फल उत्पादन क्षमता के लिए जानी जाती है। इस वैरायटी में अन्य किस्मों की तुलना में फूल आने की दर काफी अधिक होती है। आमतौर पर, इसमें औसतन 5 वेव्स (चक्र) में fruiting आती हैं। इसका मतलब है कि यह एक साल में पांच बार फूल देता है, जिससे फल उत्पादन का समय भी लंबा होता है। यह पौधा 5 महीने से ज़ादा fruiting दे सकता है।
ज़ाहिर सी बात है की जब flowering aur fruiting ज़ादा होगी तो किसान को मुनाफा भी ज़ादा ही होगा , इसी लिए काफी किसान इस variety को बड़े स्तर में लगा रहे है।

Average Size

dragon fruit price 1kg

सी वेरायटी ड्रैगन फ्रूट का आकार इसे अन्य किस्मों से अलग और विशेष बनाता है। इस किस्म के फलों का औसत वजन 400 ग्राम से लेकर dragon fruit price 1kg, तक होता है जो बाजार में एक आदर्श साइज माना जाता है।

बाजार में छोटे साइज के फलों की कीमत कम होती है, जिससे किसानों को उतना फायदा नहीं हो पाता। लेकिन सी वेरायटी के फ्रूट्स औसतन अच्छे होते है और ऐसे फलों की वजह से यह बाजार और ग्राहक की पसंद बन जाता है जिससे किसानो को मुनाफा होता है।

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FAQ:

Q1- c variety को गरम इलाको में लगा सकते है ?
Ans- c variety को गरम इलाको में लगा सकते है क्युकी इसकी हीट टॉलरेंस ज़ादा होती है।

Q2- c variety और सियाम रेड में क्या फर्क है ?
Ans- यह दोनों वैरायटी मूल रूप से एक ही है।

Q3- c variety कमेरिअल पर्पस के लिए कैसी है ?
Ans- इस ब्लॉग के माध्यम से यही बताया गया है की यह वैरायटी कमर्शियल पर्पस के लिए अच्छी है अब आपको अपने एरिया को देख कर यह फैसला करना है की आपको कोनसी वैरायटी सूट करेगी.

नोट: हमेशा अपनी मिटटी और वातावरण में वैरायटी को टेस्ट ज़रूर करे उसके बाद ही कमर्शियल लेवल पर शुरुवात करे।

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